भोपाल के खजूरी सड़क थाना क्षेत्र में गुरुवार और शुक्रवार की दरमियानी रात एक भयानक सड़क हादसा हुआ। तेज रफ्तार से जा रही हुंडई वेन्यू कार पहले एक गुमटी से टकराई, फिर सीधे पेड़ से जा भिड़ी। हादसे में तीन युवकों की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि एक युवक गंभीर रूप से घायल हो गया।
मरने वालों की पहचान प्रीत आहूजा, विशाल डाबी और पंकज सिसोदिया के रूप में हुई है। घायल युवक राहुल कंडारे का इलाज चिरायु अस्पताल में चल रहा है।
खाना खाकर लौट रहे थे दोस्त, बीच रास्ते मौत ने घेरा
परिजनों के मुताबिक, चारों दोस्त सीहोर के दरबार होटल में खाना खाने गए थे। रात में भोपाल लौटते समय, इंदौर-भोपाल हाईवे पर उनकी कार अनियंत्रित होकर गुमटी और फिर पेड़ से टकरा गई। कार चला रहा था प्रीत, उसके बगल में विशाल बैठा था, जबकि पीछे राहुल और पंकज थे।

कार के परखच्चे उड़ गए, दो टुकड़ों में बंट गई
हादसा इतना भीषण था कि कार दो टुकड़ों में बंट गई। एयरबैग तक फट गए, जिससे अनुमान लगाया जा रहा है कि स्पीड 120 किमी/घंटे से ज्यादा रही होगी। प्रीत और विशाल कार के डैशबोर्ड के नीचे बुरी तरह फंस गए थे। रेस्क्यू टीम को गेट और डैशबोर्ड काटकर शव निकालने में एक घंटे से ज्यादा का समय लगा।

परिवारों पर टूटा दुखों का पहाड़
पंकज अपने परिवार का इकलौता सहारा था। मां की पहले ही बीमारी से मौत हो चुकी है, और उसके पिता नेत्रहीन हैं। बड़ी बहन की शादी हो चुकी है। पंकज ही घर की पूरी जिम्मेदारी निभा रहा था। उसकी मौत ने पिता को पूरी तरह बेसहारा कर दिया।
प्रीत भोपाल में कपड़ों की दुकान चलाता था, जबकि विशाल उसी दुकान में काम करता था। दोनों 12वीं तक पढ़े थे। तीनों स्कूल के दोस्त थे। दुख की बात ये है कि प्रीत अपने भाई कमलेश आहूजा की गाड़ी (MP04 EA 6004) बिना बताए लेकर निकला था।
चश्मदीद बोले- एक घंटे बाद पहुंची पुलिस और एम्बुलेंस
स्थानीय लोगों का कहना है कि हादसे की सूचना देने के करीब एक घंटे बाद पुलिस और एम्बुलेंस मौके पर पहुंची। समय रहते मदद मिल जाती, तो शायद किसी की जान बच सकती थी।
थाना प्रभारी का बयान
खजूरी थाना प्रभारी नीरज वर्मा ने कहा कि हादसे का मुख्य कारण तेज रफ्तार है। उन्होंने देरी के आरोपों को खारिज किया और बताया कि
“मैं उस समय फंदा टोल नाके पर वाहनों की चेकिंग कर रहा था, जो घटनास्थल से करीब 20 किमी दूर है। हमारी प्राथमिकता घायल को तुरंत अस्पताल पहुंचाना था, जिससे उसकी जान बच सकी।”
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हर बार की तरह इस हादसे में भी लापरवाही और तेज रफ्तार ने तीन जिंदगियों को लील लिया। एक पल की जल्दबाज़ी ने तीन परिवारों को मातम में डुबो दिया। ये हादसा एक सबक है – सड़क पर सावधानी ही सुरक्षा है।