अहमदाबाद (गुजरात), 9 अप्रैल 2025 – गुजरात के अहमदाबाद स्थित साबरमती रिवरफ्रंट पर Congress का 84वां अधिवेशन दो दिवसीय कार्यक्रम के रूप में आयोजित हुआ। इस अधिवेशन को ‘न्यायपथ: संकल्प, समर्पण, और संघर्ष’ थीम पर केंद्रित किया गया, जिसमें देशभर से 1700 से अधिक कांग्रेस प्रतिनिधियों ने भाग लिया। अधिवेशन में कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, सोनिया गांधी और राहुल गांधी की मौजूदगी रही, हालांकि प्रियंका गांधी इसमें शामिल नहीं हुईं।
जातिगत जनगणना की मांग को राहुल ने फिर दोहराया
राहुल गांधी ने अधिवेशन के मंच से एक बार फिर जाति आधारित जनगणना की जोरदार वकालत की। उन्होंने कहा कि देश को यह जानने का हक है कि “कितने अल्पसंख्यक और गरीब हैं।” उन्होंने ऐलान किया, “लोकसभा और राज्यसभा में हम कानून पास करेंगे, जाति जनगणना यहीं से निकलेगी।”
राहुल ने तेलंगाना का उदाहरण देते हुए कहा कि वहां की 90 प्रतिशत आबादी OBC, दलित और अल्पसंख्यक वर्गों से है, लेकिन इन वर्गों को मालिकों, CEO और वरिष्ठ प्रबंधन की लिस्ट में जगह नहीं मिलती। उन्होंने कहा, “मैं जानता हूं कि तेलंगाना की हालत हर प्रदेश की है।” उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि मोदी सरकार देश के सामाजिक ताने-बाने को तोड़ रही है और हाशिये के वर्गों को लगातार नजरअंदाज कर रही है।
विदेश नीति पर भी किया हमला
राहुल गांधी ने बांग्लादेश को लेकर भी केंद्र सरकार को आड़े हाथों लिया। उन्होंने कहा कि बांग्लादेश भारत के खिलाफ बयान दे रहा है, लेकिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वहां के नेता से मुलाकात के दौरान एक शब्द तक नहीं कहा। उन्होंने व्यंग्य करते हुए पूछा, “कहां गई 56 इंच की छाती?”
EVM पर खड़गे का बड़ा बयान, बैलेट पेपर की मांग
कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने ईवीएम की निष्पक्षता पर सवाल उठाते हुए चुनावों को बैलेट पेपर से कराने की मांग की। उन्होंने कहा, “सरकार ने ऐसी तकनीक बनाई है जिससे उन्हें फायदा और विपक्ष को नुकसान हो।” उन्होंने महाराष्ट्र चुनाव का उदाहरण देते हुए कहा, “150 सीटों पर चुनाव लड़ा और 138 पर जीत मिली। ये 90 प्रतिशत जीत है, ऐसा पहले कभी नहीं हुआ। ये सब जालसाजी है। चोर कितना भी तेज क्यों न हो, एक न एक दिन पकड़ा ही जाएगा।”
मोदी सरकार पर सार्वजनिक संपत्तियों को बेचने का आरोप
खड़गे ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर सार्वजनिक संपत्तियों को निजी हाथों में सौंपने का आरोप लगाते हुए कहा, “नेहरू जी ने जो देश के लिए संस्थान बनाए, मोदी सरकार उन्हें खत्म कर रही है। देश को बेचा जा रहा है और उद्योगपति मित्रों को लाभ पहुंचाया जा रहा है।” उन्होंने आगे कहा कि मौजूदा सरकार के पास देश के लिए कोई विज़न नहीं है, वे केवल कांग्रेस को गाली देने में व्यस्त हैं।
गुजरात में संगठन को मजबूत करने का प्रयास
कांग्रेस पार्टी के मुताबिक, यह अधिवेशन न केवल एक राजनीतिक सम्मेलन था, बल्कि गुजरात में संगठन को मजबूत करने और 2027 के विधानसभा चुनावों के लिए रणनीतिक रोडमैप तैयार करने का एक महत्वपूर्ण मंच भी था। आयोजन स्थल पर VVIP डोम और आधुनिक सुविधाओं के साथ व्यवस्था की गई थी, जो कांग्रेस के बदले तेवर और तैयारी को दर्शाता है।

निष्कर्ष:
84वें अधिवेशन में कांग्रेस ने स्पष्ट संकेत दे दिया है कि वह आगामी चुनावों में जातिगत जनगणना, सामाजिक न्याय, पारदर्शिता और सरकारी जवाबदेही जैसे मुद्दों को प्रमुखता से उठाएगी। राहुल गांधी और मल्लिकार्जुन खड़गे दोनों ने आक्रामक तेवर दिखाते हुए मोदी सरकार पर सीधा हमला किया और जनता को “न्यायपथ” की राह पर चलने का संदेश दिया।
✍️ रिपोर्ट – देश हरपल न्यूज़ डेस्क, अहमदाबाद